बनाता ही रहता हूँ हर कदम एक नया इतिहास.
कीर्तिमान स्थापित, खण्डित और स्थापित करता ही रहता हूँ हर दम.
हर-हमेशा जन का हित, जीवन की सेवा, भावी के सपने गढ़ता,
पूर्ण समर्पित जीवन जीता रहता हूँ दिन-प्रतिदिन.
- मैं मुक्ति-मार्ग के हर अवरोध तोड़ करके दीपित प्रशस्त पथ करता बढ़ता जाता हूँ,
हर कदम चरण बढ़ते जाते हैं अंगद के और धमक व्यापती जाती है दिग्दिगन्त तक.
गति - अनवरत अग्रगति, कूच - सदा करता हूँ आगे कूच, अभियान-दर-अभियान
विजय दौड़ती रहती है पीछे मेरे, हाथों में डाले हाथ कीर्ति के साथ.
- मैं शाश्वत हूँ, हूँ सत्य और श्रम, न्याय और दायित्वबोध का पक्ष,
मैं हूँ गर्वीला विद्रोही, अन्याय, झूठ, गद्दारी - सब के ही विरुद्ध,
हूँ आर्ष ऋचा का गूँज रहा मैं आप्त वाक्य - 'सत्यं वद! धर्मं चर!'
- मैं काल-चक्र से ऊपर हूँ, उद्दाम भावना से प्रदीप्त,
चिर यौवन, नित नूतन, संघर्षलीन, अनवरत सृजनरत,
बेरहमी से काट गिराया करता हूँ जड़ हो चुके विचारों के खांडव-वन को,
और उसकी जगह बसाता ही रहता हूँ मैं इन्द्रप्रस्थ का वैभवशाली साम्राज्य.
- पुरोधा हूँ, जन-क्रान्ति का ध्वजवाहक अग्रदूत,
देखो, देखो, बवण्डर मचाती है पछुवा हवा और इस बवण्डर में और भी आन-बान-शान से
फड़फड़ाता, लहराता,ललकारता मेरा लाल झण्डा जाता ही है उड़ता ऊँचा, और ऊँचा.
- मैं अपराजित वीर, एक ही घोष किया करता, फिरता होकर अधीर
रावण और शिव के प्रथम मिलन से आज तलक - 'युद्धं देहि! युद्धं देहि! युद्धं देहि!'
- जो कायर थे, वे कायर हैं, वे कायर ही रह जाते हैं, वे पक्ष नहीं चुन पाते हैं,
वे प्रश्न नहीं कर पाते हैं, वे सत्य नहीं कह पाते हैं, जीवन-रण का सामना नहीं कर पाते हैं,
चुप लगा, निपोरे दाँत, दबाये पूँछ, न कुछ भी पूछ, भागते दिखलाई वे पड़ते हैं,
गिरते-पड़ते पतली गलियों में जान बचाने के चक्कर में हो आतंकित और व्यथित,
फिर भी मारे ही जाते हैं, इतिहास उन्हें भी अपराधी ही कहता है.
- मेरा विरोध करने वाले निज स्वार्थ ध्यान में रखते हैं, उससे ही परिचालित होते,
वे पक्षपात करते-करते कुण्ठित होते, हिलते जाते, छिलते जाते,
हतोत्साह, ओजस् विहीन, श्री हीन, कलंकित, अपमानित होते जाते,
पल-पल लज्जित, पीड़ा सहते, आख़िरकार हो बेकार, मिट्टी में मिल ही जाते.
उनकी अपनी खुद की ही जीवन की गति प्रतिगति के हर प्रतिनिधि को
पहुँचा ही देती है, फेंक ही आती है 'इतिहास के कूड़ेदान' में.
- मेरा विरोध करने वाले मिट जाते हैं!
जो खटते मेरे साथ अमर हो जाते हैं!! - गिरिजेश
(चित्र - चे और कैमिलो)
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